हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान चालीसा के मंत्र और उपासना की अनोखी अद्भुत कथा

हनुमान जन्मोत्सव के शुभ अवसर पर जाने और सीखें हनुमान जी के दिव्य गुण,और उनके मंत्र हनुमान चालीसा के दिव्य प्रभाव

हनुमान जी को इस हनुमान चालीसा में हम गुरु मानकर उनके चरणों में भगवान  राम के विमल यश का गान करते हैं,और उनसे प्रार्थना करते हैं कि हम बुद्धिहीन हैं,हमें बल बुद्धि विद्या देकर वे हमारे सभी क्लेश और विकारों को दूर करें,

Table of Contents

हनुमान जी का हनुमान जयंती दिवस और हनुमान चालीसा का रहस्य

हनुमान जी का जनम दिन प्रत्येक वर्ष चैत्र सुदि पूर्णिमा को मनाया जाता है, जिसे हम प्रकट दिवस भी कहते हैं,इस दिन हमें अपने घर के बच्चों को जरूर हनुमान चालीसा को पढ़ने की प्रेरणा देनी चाहिए,यह दिन हर वर्ष इसीलिए आता है कि हम आने वाली पीढ़ी को इस मंत्र को पढ़ने जपने और अपने जीवन में उतारने की शिक्षा दें,हनुमान चालीसा हनुमान जी से जुड़ने का पंथ भी है,मंत्र भी है,तंत्र भी है,और मार्ग भी है जो सारे जीवन मानव के काम आने वाला है

हनुमान जी की दिव्य शक्ति और विनम्रता

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

हनुमान जी एक दिव्य, तेज, शक्ति,चरित्र और स्वभाव के प्रतीक हैं,जो चारों युग में प्रकट हैं। हनुमान जी ज्ञान के सागर हैं और इसका मुख्य कारण हम यह समझ सकते हैं कि वह सूर्य नारायण भगवान को बॉलय काल में ही मीठा फल समझ खाने के लिए पहुंच गए थे,इससे हमें यह सीखना चाहिए कि हम भी सूर्य के पास रोज- जरूर जाए,उन्हें जल अर्पण करें और उनसे बल बुद्धि विद्या और ज्ञान की प्रार्थना करें।

हनुमान जी के दैनिक कार्य से शिक्षा

प्रभु का नाम जपना, कथा श्रवण करना और किसी ने किसी जीवात्मा को भगवान राम से मिलाना या प्रभु की सेवा करना इससे अभिप्राय है कि हम प्रभु की भक्ति स्वरूप प्रभु के द्वारा जो हमें काम मिला है उसे ही हम प्रभु की सेवा मानकर करें अंजनी के पुत्र, और वायु पुत्र होने के नाते हनुमान जी परम बलशाली हैं क्योंकि वायु कन-कन में और हमारे अंदर और बाहर चारों तरफ फैली होती है और इसके बिना हम एक क्षण भी नहीं रह सकते इसका अभिप्राय है कि हमें वायु पुत्र की सेवा करने से हर तरह से   सब समय और परिस्थिति में वायु की तरह कहीं भी हमारी रक्षा करते हैं

हनुमान चालीसा मंत्र के प्रभाव

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

बलशाली होने के साथ- के साथ- हनुमान चालीसा हमें यह शिक्षा भी देती है  कि हनुमान जी के इस मंत्र को जप करने से यह हमारी कुमति यानी गलत बुद्धि को दूर कर,हमारी सुमति  यानी अच्छी बुद्धि और ज्ञान को हमारे अंदर जागृत करते हैं। इनके जीवन से हमें इन बातों को सीखना है हनुमानजी एक ऐसी शक्ति है,जिनके जीवन में अनेक चुनौतियाँ आई फिर भी आगे बढ़ते रहे।

हनुमान जी और उनका नाम प्रेम

हनुमान जी प्रभु की मुद्रिका मुख में रखकर इस समुद्र जैसे सागर को पार कर गए  इसका अभिप्राय हमको यह समझना चाहिए की प्रभु की मुद्रिका वर्तमान समय में भगवान श्री राम का नाम है जिसे हम मुख पर धारण करके इस संसार सागर को आसानी से पार कर सकते हैं

हनुमान जी से संबंध

ये भगवान राम के दरबार के चौकीदार हैं हनुमान जी से जो संबंध बना लेता है ये राम जी से उस मानव को राम जी से मिला देते है,भगवान ने अपने श्री मुख से स्वयं उनकी प्रशंसा की है और भरत के तुल्य इन्हें भाई  के समान मानकर अपने गले से लगाया है

इसे भी पढ़े:-

Know The Infinite Powers of Thought | जाने विचार की असीम शक्तियां

Know The Infinite Powers of Thought | जाने विचार की असीम शक्तियां

विचार क्या है। विचार एक ऊर्जा (एनर्जा) है, जो मनुष्य के अंत: करण,यानी हृदय मे प्रकट होती है। जिस प्रकार मन के विकार से काम, क्रोध, लोभ आदि मनोवेग पैदा

Read More »
Reality and Importance of Indian Education System

Reality and Importance of Indian Education System

शिक्षा क्या है 84 लाख योनियों में केवल मनुष्य ही विद्यार्थी है, और शिक्षा का अधिकारी है बाकी अन्य तो सब भोग योनी है केवल मनुष्य योनि ही शिक्षा के

Read More »
Friendship Day | Who is Friend

Friendship Day | Who is Friend

हमारा मित्र वह होता है जिसके साथ हमारा मन मिलता है,जिसकी आदतें हमसे मिलती है,जिसके साथ समय बिताना,जिसकी आदतें और व्यवहार हमको पसंद आता है।अपने मित्र को हम स्वयम चुनते

Read More »
The meaning of skill | स्किल का मतलब

The meaning of skill | स्किल का मतलब

स्किल का मतलब (Meaning of Skill ) है, किसी कौशल को कोई व्यक्ति बेहतर तरीके से करने में सक्षम बनता है। किसी काम में विशेष ज्ञान और क्षमता का होना

Read More »
What Should You Do If Someone Insults You? | कोई अपमानित करें तो क्या करें?

What Should You Do If Someone Insults You? | कोई अपमानित करें तो क्या करें?

अपमान ( Insults ) का मतलब है किसी के मन को गलत बात या व्यवहार कैसा किसी गलत कार्य अथवा बोली के द्वारा ठेस पहुंचाना या सामने वाले व्यक्ति का

Read More »
What to do for Developed India Sankalp Yatra | विकसित भारत संकल्प यात्रा के लिए क्या करें

What to do for Developed India Sankalp Yatra | विकसित भारत संकल्प यात्रा के लिए क्या करें

 विकसित भारत संकल्प यात्रा के लिए क्या करें ( What to do for Developed India Sankalp Yatra )भारत को विकासशील से विकसित देश की ओर ले जाने के लिए जरूरी

Read More »

भगवान शंकर की साक्षी

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

हनुमान चालीसा में भगवान शंकर ने बताया है,जो यह पढ़े हनुमान चालीसा हो या सिद्धि साखी गौरीसा

हनुमान चालीसा हनुमान जी से जुड़ने का, पंथ मंत्र और ग्रंथ तीनों है।हनुमान चालीसा को सिर्फ पढ़ने मात्र से हम हनुमानजी से जुड़ सकते हैं

हनुमानजी से जुड़ने के बाद और किसी देवता की पूजा करना जरूरी नहीं, इनकी शरण लेने से मानव के सभी कार्य पूर्ण हो जाते हैं। जब हम इस मंत्र हनुमान चालीसा से जुड़ जाते हैं तब हनुमान जी की कृपा से हमें किसी से डरने की जरूरत नहीं रहती क्योंकि हनुमान जी स्वयं ही अपने भक्तों की रक्षा करते हैं।

इन्हें किसी भी वाहन की जरूरत नहीं होती जैसे अन्य देवी देवताओं को उनके वाहन की जरूरत होती है।ये स्वयं ही अपने भक्तों की संकट के समय रक्षा करने के लिए  वायु मार्ग से पहुंच जाते हैं,तीनों लोकों में इनका तेज फैला है,जो उनकी भक्ति करते हैं उनके समक्ष भूत और पिशाच नहीं आते, इनकी शरण में रहने से ये सभी रोगों का नाश कर देते हैं और  अपने भक्तों की सभी पीड़ा को हरते है

हनुमान जी के दिव्य गुण और उनकी सोच

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

बड़े बुजुर्गों के आशीर्वाद की शक्ति को सर्वोपरि मानना भी उनके जीवन से हमे सीखने मिलता है। इसके बाद संवाद की कला में भी माहिर हैं, ये किसी से भी मिलते ही उसको अपना रिश्तेदार सखा या भाई बना लेते हैं, यह भी उनसे सीखने योग्य बात है।

इनके साथ जुड़ते ही यह प्रभु राम से मिला देते हैं

यह जिनके भी जीवन में आते हैं उन्हें प्रभु श्री राम से मिला देते हैं ऐसा भी हनुमान चालीसा में देखने को मिलता है।उन्होंने सुग्रीव जी की भगवान से मित्रता कराई और उनके भी सब संकट दूर कर, उन्हें पुनः उनका राज्य दिलवाया इसी तरह विभीषण जी को भी उन्होंने प्रभु से मिलाया और उनको श्रीलंका का राजा बनवा दिया

काम के समय पहले काम ,और अपने काम से प्यार

उनके जीवन का एक ही मंत्र रहा आगे राम का काम फिर विश्राम।वे सभी काम राम के हैं जो जीवन में हमें मिले हैं,ध्यान देने की बात है।बड़े लक्ष्य बनाना और उसे हासिल करना हनुमान जी के जीवन से हमको सीखना चाहिए।सिर्फ  राम से आस और कर्म में विश्वास उनके जीवन का उसूल और उनसे सीखने की आवश्यकता है

अपने प्रभु के बल पर निर्भय होकर डटे रहना

हर स्थिति में प्रभु कृपा का दर्शन, प्रभु विश्वास के  बल पर निर्भय होकर डटे रहना भी उनसे हमें सीखना है।

कथा में प्रेम

राम कथा में प्रेम उनके जीवन का दिव्य गुण है, चारों युगों में इनका प्रताप रहा है और सारे संसार में उनकी कीर्ति गाई जाती है क्योंकि यह निरंतर प्रभु के सेवा में लगे रहते हैं

समय और परिस्थिति के अनुसार काम करना और अपने रूप को धारण करना

छोटा बनकर और झुक कर अपने काम बनाना उनसे सिखा जा सकता है

जब बुद्धि दिखाने का समय आया तो छोटे हुए और जब बल दिखाने के समय तब बड़े होना हमको उनसे सीखना चाहिए

हनुमान जी की उपासना की विशेष बातें

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

जिन जिन को हनुमान ने राम कथा सुनाई उनका प्रभु राम से जरूर मिलन हुआ।हनुमान जी ने खुद भक्त होने के बावजूद भी स्वयं को छुपाया और प्रभु को ही आगे रखा,

इन्हें माता- सीता से अष्ट सिद्धि और नव निधि का वरदान भी प्राप्त है।वे इस राम नाम रूपी रसायन या इसके बल से  अपने से जुड़े सभी भक्तों का काम ये चुटकियों में बना देते हैं

प्रथम वक्ता,जिन्होंने विदेश में जाकर राम कथा को माता सीता को सुनाया

हनुमान जी ऐसे कथावाचक हुए जिन्होंने सर्वप्रथम विदेश की भूमि यानी लंका में जाकर कथा सुनाई। उनके बाद आजकल बहुत से वक्त विदेश जाकर राम कथा वर्तमान समय में भी सुना रहे हैं यह भी सीखने योग्य बात है

हनुमान चालीसा इनसे गुरु दीक्षा लेने का मंत्र है

हनुमान जी ऐसे संत हैं जो प्रभु के दरबार में सीधे जीव को पहुंचाने का सामर्थ रखते हैं। इनसे जुड़ाव होते ही यह प्रभु राम के नाम से प्रेम करा देते हैं

किसी वाहन या ड्राइवर पर हनुमान जी निर्भर नहीं अपने भक्तों को छुड़ाने हनुमान जी  स्वयं जाते हैं क्युकि, वे जाने के लिए किसी अन्य देवता की तरह वाहन पर निर्भर नहीं, वे उड़ कर स्वयं अपने भक्तों की रक्षा के लिए पहुँच जाते हैं

माता सीता से प्राप्त वरदान

अस्ट सिधि और नव निधि का वरदान प्राप्त होने की वजह से वे संसार के  समस्त सुख – भोग देने का सामर्थ्य रखते हैं

वर्तमान में सच्चे गुरु हनुमान

हनुमानजी को अपने अंतः मन में गुरु बनाएं प्रभु से मिलाप निश्चित हो जाता है। इनके भजन और सुमिरन से यह मानव को राम से मिला देते हैं और जन्म मरण से छुटकारा दिलाते हैं मुक्ति की राह पर पहुंचाते हैं।

हनुमान चालीसा इनसे गुरु दीक्षा लेने का मंत्र है

हनुमान जी की ताकत उनको याद दिलाने के लिए कवन सो काज कठिन जग माही जो नहीं होय तात तुम पाही ऐसा 7 बार बोल कर अपनी चुनौतियों को उनके सम्मुख रखें। इसके बाद हम हनुमान चालीसा का पाठ करें तो यह तत्काल प्रभाव दिखाती है।

हनुमान जी की महत्वपूर्ण बातें यह भी जाने

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

हनुमाजी की ७  परिक्रमा करें, उन्हें सिंदूर चढ़ाएं जो कि उन्हें बहुत प्रिय है  उनको राम नाम रूपी मंत्र को श्रवण करा कर आप उन्हें प्रसन्न कर सकते हैं

हनुमान जी से सीखे समय का सदुपयोग करने की विधि

हनुमान जी अपने अमूल्य समय का उपयोग प्रभु के नाम को गान कर प्रभु की कथा के माध्यम से प्रभु के गुन को सुनकर प्रभु के साथ जुड़ कर रहते हैं क्योंकि नाम में प्रभु स्वयं विराजमान हैं।

हनुमान जी की प्रशंसा

हनुमान जी की पूँछ पीछे होती है, जिसका अभिप्राय है,उनकी प्रशंसा वहाँ भी होती है, जहाँ वो स्वयं उपस्थित नहीं होते, अर्थात पीछे से होती है

हनुमान जी एक भक्त स्वरूप में

जिन जिनके जीवन में हनुमानजी आए उन्होंने अपने भक्तों को रामजी से जरूर मिलवाया या राम तक पहुंचाया
जहा जहां हनुमान जी के चरण पड़े वहां वहां रामकथा निश्चित संपन्न हुई

इस कलिकाल में वही साक्षात हनुमान का स्वरूप है जिसका प्रभु के नाम और प्रभु की कथा में प्रेम है,हमें हनुमान को पहचानने की जरूरत है, जो बार-बार हम जीव को परमात्मा की कथा से जोड़ता है और भगवान के नाम का गुणगान करने की प्रेरणा देता है वही कलयुग में हनुमान है

हनुमान जी की भक्ति

हनुमान जी की भक्ति करने से मानव जीवन के चारों पुरुषार्थ धर्म अर्थ काम और मोक्ष अपने आप उस मानव को प्राप्त हो जाते हैं, हनुमान जी की सेवा करने से और किसी देवता की सेवा करने की जरूरत नहीं रहती क्यों की हनुमान जी की सेवा से सारे सुख मानव प्राप्त कर लेता है उसके जीवन के सभी संकट और पीड़ा का नाश हो जाता है और गुरुदेव के रूप में वे उसे राम नाम की दीक्षा भी प्रदान करते हैं

हनुमान जी की भक्ति से जीवन में खुशियां ही खुशियां महासुख

आइए 7 बार हम हनुमान जी के  परम भक्तों के साथ हनुमान चालीसा का पाठ करें, हनुमान चालीसा इस बात की गवाही देता है जो मानव नित्य निरंतर इस पाठ को सात बार करता है उसके जीवन में महासुख की प्राप्ति वह करता है।

यह चौपाई इस बात का प्रमाण देती है जो सतबर पाठ कर कोई छूट ही बंदी महा सुख होई
हनुमान जी की आरती से हनुमान जी से प्रेम और उनका बल हमारे स्वयं में

आओ हनुमान जी की आरती करते है |

Worship of Hanuman Ji on Hanuman Janmotsav | हनुमान जन्मोत्सव पर हनुमान जी की उपासना

हनुमान जी के जीवन से यह बात भी मुख्य रूप से सीखने की है कि वह सिर्फ भगवान के नाम का जप करते हैं और राम की कथा सुनते हैं और इसके प्रभाव से चारों युगों में इनका प्रभाव देखा गया है ,वर्तमान में भी हनुमानजी के जितने मंदिर मिलते हैं शायद अन्य और किसी देवता के नहीं मिलते

अंत में हनुमान चालीसा का मुख्य अर्थ यही है कि हम हनुमान जी से प्रार्थना करें हैं कि वह श्री राम और माता सीता,लक्ष्मण सहित हमारे हृदय में विराजमान हों, क्योंकि ह्रदय ही प्रभु का घर और निवास स्थान है।

यहां प्रभु स्वयं विराजमान होते हैं, हमें अपने मन को पवित्र करने की जरूरत है जो की हनुमान जी जैसे किसी गुरु के सत्संग से ही हम कर सकते हैं और फिर जीवन में  मानव को किसी तरह का क्लेश नहीं रह जाता, वो हमेशा मुस्कुराता रहता है और प्रभु की भक्ति में लीन रहता है। उसका यह लोक भी सुधर जाता है,और परलोक भी अपने आप ही सुधर जाता है।

हनुमान जी से क्षमा प्रार्थना

अगर हम बहुत काल से हनुमान जी की पूजा पाठ उपासना करते हैं,हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं उनकी आरती करते हैं उनके मंदिर जाते हैं उनका मंगलवार का व्रत करते हैं और हमारे जीवन में यदि कोई परिवर्तन नहीं आ रहा तो हमें हनुमान जी से क्षमा प्रार्थना करनी चाहिए।

क्षमा स्वरूप हमको उनसे कहना चाहिए कि उनकी उपासना में यदि कोई कमी है तो वह अपनी कृपा से उस कमी को दूर करें 

प्रार्थना स्वरूप उनको बार-बार कहे कि वह हमको  शिष्य स्वरूप में स्वीकार करें और उनसे प्रार्थना करे की वे हमें श्री राम  से मिलने योग्य हमको पात्रता प्रदान करें   ऐसा आशीर्वाद मांगें
जय श्री राम
जय हनुमान
सेवक

Nirmal Tantia
Nirmal Tantia
मैं निर्मल टांटिया जन्म से ही मुझे कुछ न कुछ सीखते रहने का शौक रहा। रोज ही मुझे कुछ नया सीखने का अवसर मिलता रहा। एक दिन मुझे ऐसा विचार आया क्यों ना मैं इस ज्ञान को लोगों को बताऊं ,तब मैंने निश्चय किया इंटरनेट के जरिए, ब्लॉग के माध्यम से मैं लोगों को बताऊं किस तरह वे आधुनिक जीवन शैली में भी जीवन में खुश रह सकते हैं

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Why family is important for happiness dot Keep Yourself Healthy 9 Facts to Stay Fit How Happy Life Can Spend How many types of happiness are there? Happiness depends on this factor What to do to Be Happy Identification of a mentally healthy person Go viral to do something good and be happy Why is it important to be happy? What is food, what is its importance? Healthy diet is also important to be happy Habits to increase knowledge to be happy The Right Way to Eat Importance of 8 to live life Benefits of Satsang are immediate Seven Happiness Will Keep You Happy Forever Best Happy Habits Yes Food can make our mood Happy Entertainment Wave of happiness